जयपुर, 9 नवम्बर (Udaipur Kiran). कोटा शहर के आरकेपुरम थाना क्षेत्र (R.K. Puram Police Station Area) में 7 नवम्बर को हुए मां-बेटी की निर्मम हत्या (Mother-Daughter Murder Case) की गुत्थी को पुलिस ने महज 48 घंटे में सुलझा लिया है. पुलिस ने इस मामले में दो आरोपियों — प्रदीप वैष्णव (30) और भरत सहरिया (23), दोनों निवासी सूरजपुर थाना खानपुर, झालावाड़ — को गिरफ्तार किया है.
घटना का खुलासा और जांच की शुरुआत7 नवम्बर को आरकेपुरम क्षेत्र के रोजड़ी इलाके (Rojdi Area) में एक नर्सिंग कर्मचारी की पत्नी ज्योति वैष्णव और उनकी बेटी पलक वैष्णव की घर में गला दबाकर हत्या कर दी गई थी.
घटना की सूचना मिलते ही कोटा शहर एसपी तेजस्वनी गौतम, अतिरिक्त Superintendent of Police नियति शर्मा और पुलिस उप अधीक्षक योगेश शर्मा घटनास्थल पर पहुंचे. मामले की गंभीरता को देखते हुए एफएसएल (Forensic Science Laboratory), एमओबी (Mobile Operation Bus) और डॉग स्क्वॉड की टीमें मौके पर पहुंचीं और साक्ष्य एकत्र किए.
हत्या के रहस्य को उजागर करने के लिए एएसपी दिलीप सैनी और डीएसपी मनीष शर्मा के सुपरविजन में आरकेपुरम एसएचओ महेंद्र मारू और अन्नतपुरा एसएचओ भूपेंद्र के नेतृत्व में 16 पुलिस टीमों का गठन किया गया.
टीमों ने सीसीटीवी फुटेज (CCTV Footage) का विश्लेषण, तकनीकी साक्ष्य (Technical Evidence) का संग्रहण और परिवार व परिचितों से गहन पूछताछ की.
पुलिस की संयुक्त कार्रवाई रंग लाई और मुखबिरों की सूचना पर sunday , 9 नवम्बर को पुलिस ने दोनों आरोपियों प्रदीप वैष्णव और भरत सहरिया को मुकुंदरा के जंगलों (Mukundra Forests) से गिरफ्तार कर लिया.
पुलिस ने बताया कि मृतका ज्योति और अभियुक्त प्रदीप पहले से एक-दूसरे को जानते थे. इस केस में एक और आरोपी राजू उर्फ मामू फरार है, जिसकी तलाश जारी है.
जांच में सामने आया कि हत्या का मुख्य कारण पैसों का विवाद (Money Dispute) था. आरोपी प्रदीप ने मृतका ज्योति को ₹60,000 उधार दिए थे, जो वह लौटाने में Assamर्थ थी. इसी बात से नाराज होकर प्रदीप ने अपने साथी भरत और राजू के साथ मिलकर हत्या की योजना बनाई.
6 नवम्बर को उन्होंने प्रयास किया लेकिन मौका नहीं मिला. अगले दिन, 7 नवम्बर को ज्योति के पति के बाहर जाते ही, तीनों घर में घुसे और ज्योति का चुन्नी से गला घोंटकर (Strangulation) हत्या कर दी.
उसी वक्त स्कूल से लौटी पलक ने जब अपनी मां को देखा और शोर मचाया तो आरोपियों ने उसका भी गला दबाकर हत्या कर दी. इसके बाद आरोपी मंगलसूत्र, कानों के टॉप्स और अलमारी से सामान लूटकर भाग गए ताकि वारदात को लूट की घटना (Loot Cover-Up) का रूप दिया जा सके.
पुलिस की त्वरित कार्रवाई और सफलताएसपी तेजस्वनी गौतम ने इस त्वरित कार्रवाई और 48 घंटे में केस सुलझाने पर पूरी टीम की सराहना की. उन्होंने कहा कि इस सफलता से Rajasthan पुलिस (Rajasthan Police) ने एक बार फिर अपने सिद्धांत “आमजन में विश्वास, अपराधियों में भय” (Trust Among People, Fear Among Criminals) को साकार किया है.
You may also like

किशोरी की हत्या में शामिल पिता सहित तीन गिरफ्तार, गया जेल

27 के चुनाव से पूर्व मुरादाबाद मंडल में 50 हजार से अधिक नए लोगों को जोड़ेगी शिवसेना : गुड्डू सैनी

भारत और अंगोला की साझेदारी आपसी विश्वास, सम्मान और साझा समृद्धि की दृष्टि पर आधारित: राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु

सड़क दुर्घटना में दो युवक की मौत

गुरुद्वारा श्री गुरूनानक सत्संग सभा में शुक्राने का सजाया गया दीवान




