रश्मि खत्री, रामनगर/देहरादून: उत्तराखंड में रामनगर स्थित कांग्रेस कार्यालय में कब्जे को लेकर कार्यालय स्वामी और कांग्रेस के पूर्व विधायक रणजीत सिंह रावत के बीच विवाद ने एक बार फिर बड़ा रूप ले लिया। सोमवार को कार्यालय स्वामी ने कांग्रेस कार्यालय में ताला जड़ दिया जिसको लेकर पूर्व विधायक के साथ दर्जनों कांग्रेसी कार्यालय में ताला तोड़ने के लिए पहुंच गए। ताला तोड़ने को लेकर हंगामा हो गया और पुलिस ने इन कांग्रेसियों को वहां से खदेड़ा।रामनगर में रानीखेत रोड पर स्थित कांग्रेस कार्यालय के कब्जे को लेकर कांग्रेसियों का पहले से ही विवाद चल रहा है। इसी विवाद के चलते सोमवार सुबह के समय कार्यालय स्वामी नीरज अग्रवाल ने कांग्रेस कार्यालय के मुख्य गेट पर ताला जड़ दिया। जब इस बारे में कांग्रेस के पूर्व विधायक रणजीत सिंह रावत को पता चला तो उन्होंने समर्थकों के साथ मौके पर पहुंच कर विरोध दर्ज कराया। उन्होंने वहां लगा ताला तोड़ कर पुराने ताले लगवा दिए। इस बात पर दोनों पक्षों में जमकर विवाद हुआ। पुलिस और कांग्रेस नेताओं के बीच धक्कामुक्कीहंगामे के चलते पुलिस फोर्स भी मौके पर पहुंच गई। उन्होंने पूर्व विधायक रणजीत सिंह रावत और उनके समर्थकों को कांग्रेस कार्यालय के आगे से हटाने की कोशिश की जिस पर पुलिस कर्मियों और कांग्रेसियों के बीच धक्का-मुक्की भी हो गई। कांग्रेसियों ने पुलिस के खिलाफ भी जमकर नारेबाजी की जिससे मौके पर अफरा-तफरी का माहौल बन गया। हालांकि पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को वहां से पीछे धकेल दिया। इस दौरान कार्यालय स्वामी अपने समर्थकों के साथ कार्यालय के अंदर मौजूद थे जबकि पूर्व विधायक रणजीत सिंह रावत और उनके समर्थक बाहर खड़े नजर आए। विवाद इतना बढ़ गया कि कांग्रेस कार्यालय के बाहर लगा फ्लेक्स भी दूसरे पक्ष ने हटा दिया। इस कार्यालय को वर्तमान में पूर्व विधायक रणजीत सिंह रावत की देखरेख में संचालित किया जा रहा था। पूर्व विधायक ने पुलिस पर मिलीभगत का लगाया आरोपपूर्व विधायक रणजीत सिंह रावत का कहना है कि उन्हें सुबह सूचना मिली कि कांग्रेस कार्यालय के गेट पर लगे उनके ताले तोड़कर किसी और व्यक्ति ने नए ताले लगा दिए हैं। इस सूचना पर वे मौके पर पहुंचे और उन्होंने पुराने वापस लगवाए। उनका आरोप लगाया कि इस कार्यालय में कब्जे लेने वालों के साथ पुलिस प्रशासन भी शामिल है। रामनगर कोतवाल अरुण कुमार सैनी ने बताया कि पुलिस को 112 पर सूचना मिली कि कांग्रेस कार्यालय में दो पक्षों के बीच तनातनी चल रही है। शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए मौके पर पुलिस फोर्स भेजी गई। पुलिस ने मौके पर पहुंच कर स्थिति को नियंत्रण में किया। दोनों पक्षों से यदि कोई तहरीर मिलती है तो आगे कार्रवाई की जाएगी। पिछले साल अक्टूबर में भी हुआ था हंगामाविदित हो कि कांग्रेस कार्यालय को खाली करने के लिए पिछले साल अक्टूबर महीने में भी हंगामा हुआ था। उस दौरान भी कार्यालय स्वामी नीरज अग्रवाल ने कार्यालय खाली करवाने की कोशिश की थी। जबकि कांग्रेसियों का कहना था कि यह जमीन व्यापारी नीरज अग्रवाल की है तो उन्हें नोटिस देना चाहिए था। उस दौरान भी दोनों पक्षों को कोतवाली में बुलाकर मामला शांत कराया गया था।
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